भारतीय रेलवे ने एक बार फिर अग्रिम आरक्षण अवधि में बदलाव किया है। 1 नवंबर 2024 से यात्री अब अपनी यात्रा से 60 दिन पहले ही टिकट बुक कर सकेंगे। यह निर्णय यात्रियों की सुविधा और रेलवे की कार्यक्षमता में सुधार के लिए लिया गया है।पिछले कुछ दशकों में आरक्षण अवधि में कई बार बदलाव हुए हैं। यह अवधि 30 दिन से लेकर 120 दिन तक रही है। लेकिन विभिन्न अनुभवों के आधार पर 60 दिन की अवधि को सबसे उपयुक्त माना गया है।
इस कदम के पीछे कई कारण हैं:
- टिकट रद्दीकरण में कमी: 120 दिन की लंबी अवधि में यात्रा योजनाओं में बदलाव के कारण टिकट रद्द करने की संभावना अधिक थी। इससे सीटें खाली रह जाती थीं।
- वास्तविक यात्रियों को लाभ: छोटी अवधि से यह सुनिश्चित होगा कि वास्तविक यात्री ही टिकट खरीदें, न कि कोई टिकट ब्लॉक करके रखे।
- बेहतर योजना: कम रद्दीकरण से रेलवे बेहतर तरीके से मांग का अनुमान लगा सकेगा और जरूरत पड़ने पर विशेष ट्रेनें चला सकेगा।
- अवैध गतिविधियों पर रोक: लंबी अवधि में कुछ लोग फर्जी पहचान से टिकट बुक करते थे। छोटी अवधि से इस पर अंकुश लगेगा।
रेलवे के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, “वर्तमान में लगभग 21% टिकट रद्द किए जाते हैं और 4-5% यात्री बिना सूचना के यात्रा नहीं करते। 60 दिन की अवधि से इन आंकड़ों में सुधार होने की उम्मीद है।”यह बदलाव केवल आरक्षित श्रेणी के टिकटों पर लागू होगा। सामान्य श्रेणी के टिकटों पर इसका कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा क्योंकि वे आमतौर पर यात्रा के समय के नजदीक ही खरीदे जाते हैं। यात्रियों से अनुरोध है कि वे इस नई व्यवस्था के अनुसार अपनी यात्रा की योजना बनाएं। रेलवे का मानना है कि यह कदम यात्रियों और रेलवे दोनों के लिए फायदेमंद साबित होगा।