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वरीय संवाददाता देवब्रत मंडल

गया जिला व्यवसायी संघ की बैठक पुरानी गोदाम केपी रोड स्थित गंगाधर शिवकुमार डालमिया स्मृति सभागार में आहुत हुई. गया जिला व्यवसायी संघ के सचिव अमित लोहानी ने बताया कि विभिन्न विभागीय समस्याओं के कारण हो रही परेशानियों को लेकर यह बैठक बुलाई गई थी. पुरानी गोदाम, हाते गोदाम टेकारी रोड इत्यादि क्षेत्र से व्यवसायी बैठक में उपस्थित होकर अपनी अपनी समस्याओं से संघ को अवगत कराया. नापतौल विभाग, जीएसटी विभाग, खाद्य प्रसंस्करण विभाग, आयकर विभाग इत्यादि विभागों से संबंधित कई समस्याएं सामने आई. उन्होंने बताया कि बैठक में उपस्थित व्यवसाईयों ने बताया कि आए दिन नए-नए नियमों और पुराने नियमों में बदलाव होते रहते हैं जिस कारण अनजाने में व्यवसाईयों के द्वारा गलतियां भी होते रहती हैं. इन गलतियों को पकड़कर विभागों द्वारा अपराध की संज्ञा देकर व्यवसाईयों को परेशान किया जाता है. व्यवसाईयों का कहना था कि नए नियम अथवा पुराने नियमों में बदलाव की जानकारी विभागों द्वारा समुचित तरीके से व्यवसाइयों तक पहुंचना चाहिए एवं त्रुटि होने पर सुधारने का अवसर दिया जाना चाहिए. उन्होंने कहा जबकि विभाग सहयोग और सहायता करने की जगह व्यवसाईयों से अपराधी की तरह बर्ताव करते हैं. विभिन्न समस्याओं के अलावा आज की बैठक में गया जिला व्यवसायिक संघ का चुनाव भी संपन्न हो गया. उपस्थित समस्त व्यवसाईयों ने द्वारा सर्वसम्मति से निवर्तमान अध्यक्ष श्री अनिल कुमार को पुनः अध्यक्ष के रूप में चुना गया एवम सचिव के रूप में अमित लोहानी को भी सर्वसम्मति से चुना गया. साथ ही विजय नवादिया एवं अशोक गुप्ता को संरक्षक, सुजीत गुप्ता एवं सतीश केसरी को उपाध्यक्ष तथा शंकर प्रसाद को कोषाध्यक्ष के लिए चयन किया गया. नवनिर्वाचित अध्यक्ष अनिल जी ने सभा को संबोधित करते हुए कहा कि व्यवसाई वर्ग को पूर्ण रूप से संगठित होकर एक आवाज में हो रहे अन्याय का विरोध करना होगा तथा अपने जायज मांगों के लिए एकजुट होकर आवाज उठाना होगा. उन्होंने समझाया कि हर असंगठित समाज एक दिन विलुप्त हो जाता है. संगठन में ही शक्ति है. यदि अनन्याय के खिलाफ लड़ेंगे नहीं तो एक दिन दबते दबते अस्तित्व समाप्त हो जाएगा. नव निर्वाचित सचिव अमित लोहानी ने सभा को संबोधित करते हुए कहा कि कोई भी समस्या ऐसी नहीं है जिसका निवारण नहीं हो सकता है. जैसा की विगत दिनों मापतौल विभाग से संबंधित समस्या सामने आई थी जिसको लेकर विभाग एवं व्यवसाइयों के शिष्टमंडल के बीच संयुक्त बैठक कराकर समस्या का निवारण किए. इसके पश्चात विभाग के इंस्पेक्टर सुदामा प्रसाद पूर्ण रूप से सहयोग करने का आश्वासन दिए और सेंट्रल चेंबर ऑफ कॉमर्स के सहयोग से कैंप लगाकर समस्या का निवारण किए. आवश्यकता पढ़ने पर संघ द्वारा भी कैंप लगाकर प्रत्येक व्यवसाई की समस्या का निवारण किया जाएगा. अन्य विभागों से संबंधित समस्या का भी निवारण संबंधित विभाग के अधिकारियों से संपर्क कर जरूरत पड़ने पर कैंप लगाकर समाधान निकाला जाएगा. चूंकि व्यवसाई एवं उद्यमी वर्ग सरकार को कर के रूप में 5% से 18% तक की अप्रत्यक्ष हिस्सेदारी देती है और सरकार की तरफ से किसी भी प्रकार का सहयोग नगण्य रहता है. परंतु यह भी सत्य है कि सूक्ष्म एवं लघु व्यवसाइयों की समस्या सही तरीके से सरकार तक नहीं पहुंच पाती है, अतः हम लोगों को अपनी समस्या से सरकार को अवगत कराने के लिए एकमत तथा एकजुट होना पड़ेगा.
संरक्षक विजय नवदिया ने बताया कि नगर निगम से लेकर सरकार तक विभिन्न प्रकार के कर देने के बावजूद तमाम व्यवसाई क्षेत्र टेकारी रोड, हाते गोदाम, पुरानी गोदाम में मूलभूत सुविधा भी प्राप्त नहीं है. यह क्षेत्र सालों भर गंदगी से पटा रहता है नाली एवं सड़कों का जर्जर हाल है. नाले का पानी रोड पर बहता रहता है. समस्त मगध क्षेत्र के व्यापारियों को कीचड़ में घुसकर आना जाना पड़ता है जिससे गंभीर बीमारियों का भी भय बना रहता है. सुरक्षा, रोशनी, शौचालय तक उपलब्ध नहीं है.
उपाध्यक्ष सुजीत गुप्ता ने जीएसटी विभाग से संबंधित गंभीर समस्या को उजागर करते हुए बताएं कि वित्तीय वर्ष 2017-18 से संबंधित इनपुट की समस्या को लेकर विभाग अब जागते हुए सभी को आज तक के इंटरेस्ट एवं पेनल्टी के साथ नोटिस भेज रही है। जिससे कि मूल त्रुटि युक्त रकम चार गुना से पांच गुना करके भुगतान करने का मांग किया जा रहा है. जबकि उक्त वर्ष में जीएसटी पोर्टल भी काफी त्रुटि पूर्ण था तथा जीएसटी की समुचित जानकारी भी लोगों को नहीं थी उक्त वर्ष में इनपुट से आउटपुट का समुचित मिलान संभव नहीं हो पा रहा था. पोर्टल की त्रुटियों और जानकारी की कमी के कारण सरकार ने भी उक्त वित्तीय वर्ष में सभी पेनल्टी एवं फाइन को माफ कर दिया था। सरकार से निवेदन किया जाता है की उक्त वर्ष से संबंधित किसी भी तरह का दोषारोपण व्यापारियों पर करना पूर्णतः अनुचित और अव्यवहारिक है. अतः वित्तीय वर्ष 2017-18 एवं 2018-19 से संबंधित त्रुटियों को माफ कर देना चाहिए अन्यथा कई सूक्ष्म और लघु व्यवसाइयों को जबरदस्त घाटे तथा मानसिक तनाव का सामना करना पड़ेगा।
अनिल कुमार की अध्यक्षता तथा अमित लोहानी द्वारा संचालित इस बैठक में अशोक गुप्ता, अजय, विक्की, रोहित, धीरज जैन, पंकज लोहानी, सीताराम, प्रमोद केसरी इत्यादि लोगों ने भी अपनी बातों को रखा।

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Last Update: October 6, 2023