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वरीय संवाददाता देवब्रत मंडल

पितृपक्ष मेला महासंगम 2023 के कल अंतिम तिथि अमावस्या के दिन(14अक्टूबर) को देश-विदेश से आये विभिन्न पिंडदानियों के साथ-साथ मगध क्षेत्र के स्थानीय व्यक्तियों द्वारा भी तर्पण करने की परंपरा रही है। शनिवार को पितृ तर्पण की अंतिम तिथि है। तीर्थयात्री अपने पूर्वजों को अंतिम तर्पण करते हुए घर वापसी लेते हैं। पितृपक्ष के अंतिम तिथि पर भारी भीड़ को ध्यान में रखते हुए जिला प्रशासन ने शनिवार को अहले सुबह 4:00 बजे से ही विभिन्न स्थानों पर पदाधिकारियों एवं पुलिस पदाधिकारियों की उपस्थिति सुनिश्चित करने को कहा है। ट्रैफिक व्यवस्था सुचारू रहे इसके लिए अतिरिक्त ट्रैफिक के जवानों को मेला क्षेत्र में लगाया जाएगा। ऐसी मान्यता है कि लोग कल अंतिम तिथि में तर्पण करने के पश्चात विष्णुपद मंदिर में भगवान के दर्शन करने जाते हैं इसे लेकर प्रशासन द्वारा भीड़ नियंत्रण के उद्देश्य से पूरी आवश्यक तैयारी कर ली गई है।
इसे ध्यान में रखते हुए जिला प्रशासन ने सभी लोकल नागरिकों से अपील की है कि गयाजी डैम निर्माण होने के कारण लोग घाट पर ही तर्पण करेंगे। जबकि पिछले कई वर्षों से जब फल्गु नदी में पानी नहीं रहता था तो लोग नदियों में जाकर तर्पण करते थे। डीएम डॉ त्यागराजन एसएम ने लोगों से अपील करते हुए कहा है कि नदी में पानी रहने के कारण लोग घाट पर ही तर्पण करेंगे। अत्यधिक भीड़ की स्थिति ना बने, इसके लिए पितामहेश्वर, पंचदेव धाम, ब्राह्मणी घाट, गजाधर घाट, सीता कुंड, केंदुई घाट तथा अन्य घाट जो फल्गु नदी के समानांतर है। सभी में आप अपनी सहूलियत के अनुसार तर्पण करें। एक साथ सारे लोग देवघाट पर भीड़ न लगाएं। प्रशासन द्वारा संबंधित सभी घाटों पर पर्याप्त व्यवस्था रखी गई है। सभी आमजन भीड़ से बचने हेतु अन्य घाटों का भी प्रयोग करें।

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Last Update: October 15, 2023