BIPARD ने AI और EQ-संचालित लैब्स के साथ प्रशासनिक प्रशिक्षण में किया क्रांतिकारी बदलाव

Deepak kumar

गया, 07 अक्टूबर, 2024: बिहार लोक प्रशासन और ग्रामीण विकास संस्थान (BIPARD) ने प्रशासनिक प्रशिक्षण में नई ऊँचाइयाँ छूते हुए तीन अत्याधुनिक प्रयोगशालाओं का उद्घाटन किया है, जो स्वदेशी आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) और इमोशनल इंटेलिजेंस (EQ) के साथ आधुनिक शिक्षण का सम्मिश्रण करती हैं। ये प्रयोगशालाएँ BIPARD परिसर में “गहन ज्ञान और खुफिया गलियारे” का हिस्सा हैं और बिहार के प्रशासनिक प्रशिक्षण को नई दिशा देंगी।

बिहार नेक्स्ट-जेन लैब:

यह लैब घरेलू और सुरक्षित AI तकनीकों का उपयोग करके राज्य के अधिकारियों को आधुनिक शासन की चुनौतियों से निपटने के लिए प्रशिक्षित करेगी। इसके ज़रिए प्रशिक्षु अधिकारियों को नीति निर्माण, पूर्वानुमान विश्लेषण और शासन अनुकूलन के लिए AI का कुशलता से प्रयोग करना सिखाया जाएगा। यह न केवल डेटा सुरक्षा को सुनिश्चित करेगा बल्कि निर्णय लेने में सटीकता और दक्षता को भी बढ़ाएगा।

यह एक उन्नत सिमुलेशन लैब है, जहाँ प्रशिक्षु वास्तविक दुनिया के परिदृश्यों से बातचीत करेंगे। यहां शासन के मुद्दों को लघु फिल्मों और इंटरेक्टिव सत्रों के माध्यम से समझाया जाएगा, जिससे प्रशिक्षुओं को थ्योरी और प्रैक्टिकल के बीच तालमेल बिठाने में मदद मिलेगी। इसका उद्देश्य भावनात्मक और अनुभवात्मक सीखने के माध्यम से निर्णय लेने की क्षमता को मजबूत करना है।

विकसित चिंतन कक्ष:

यह सहयोगात्मक प्रयोगशाला राज्य के अधिकारियों के लिए नीति-निर्माण और गहन चर्चाओं का केंद्र होगी। यहाँ नवीनतम तकनीकों से लैस अधिकारी राज्य के महत्वपूर्ण नीतिगत मामलों पर विचार-विमर्श कर सकेंगे, जिससे शासन की गुणवत्ता में सुधार आएगा।

स्मार्ट गवर्नेंस की ओर कदम:

BIPARD की इस पहल ने भारत में शासन प्रशिक्षण के क्षेत्र में एक नया मील का पत्थर स्थापित किया है। नीति आयोग के सीईओ, श्री बी.वी.आर. सुब्रह्मण्यम ने इस मौके पर कहा, “BIPARD का यह कदम बिहार को AI-संचालित निर्णय समर्थन प्रणाली में अग्रणी राज्य बनाता है। इस पहल से राज्य के आकांक्षी जिलों और ब्लॉकों को बेहतर शासन के साथ प्रेरणादायक जिलों के रूप में उभरने का अवसर मिलेगा।”

उन्होंने यह भी कहा, “तेजी से बदलती दुनिया में, AI जैसी तकनीकें न केवल शासन के लिए आवश्यक हैं, बल्कि वे प्रशासन को अधिक कुशल और प्रभावी बनाती हैं। नागरिक अब त्वरित निर्णय और सटीक सुधारों की अपेक्षा करते हैं।” BIPARD की ये लैब्स बिहार के प्रशासनिक अधिकारियों को सशक्त बनाने के लिए एक महत्त्वपूर्ण कदम हैं, जो राज्य को स्मार्ट गवर्नेंस की दिशा में आगे बढ़ाने में सहायक होंगी।

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